दोस्तों की मेहफिल थी
शाम भी रंगीन थी...
वो पल भी क्या पल था
जब सामने तू थी...
आंखों में नशा था
बातों में प्यार...
अब नाराजगी किस बात की
आ गले लग जा मेरे यार..
आशीष...
शाम भी रंगीन थी...
वो पल भी क्या पल था
जब सामने तू थी...
आंखों में नशा था
बातों में प्यार...
अब नाराजगी किस बात की
आ गले लग जा मेरे यार..
आशीष...
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